कोरबा में रेत तस्करों के हौंसले बुलंद,अवैध रेत के लिए खूनी खेल
नमस्ते कोरबा :- कोरबा में रेत तस्करों के हौंसले किस कदर बुलंद हो चले इस बात का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है,कि वे अब मारपीट पर उतारु हो गए है। राताखार स्थित हसदेव नदी किनारे रेत माफियाओं ने खूनी खेल खेलते हुए सब्जी बाड़ी मालिक के साथ मारपीट करते हुए उसे लहुलुहान कर दिया। इस घटना के पीछे बतरा ट्रेडर्स के लोगों का नाम सामने आ रहा है। शिकायत के बाद हरकत में आई पुलिस ने मामले की जांच शुरु कर दी है।
जानकारी के मुताबिक घटना आज सुबह लगभग 7 बजे की है। राताखार बजरंग चौक के पास रहने वाले किरण महतो 34 वर्ष की बाड़ी राताखार से होकर बहने वाली हसदेव नदी के दूसरे छोर पर स्थित है। नया पुल के नीचे यह बाड़ी है और यह इलाका दर्री थाना क्षेत्र में आता है। आज सुबह जब किरण महतो अपनी मां के साथ बाड़ी में काम करने गया हुआ था तब नदी किनारे स्थित उसकी बाड़ी से ट्रैक्टर क्रमांक सीजी 12Ay 6366 में रेत लोड कर रहे लोगों को उसने मना किया। यह बात ट्रैक्टर के साथ पहुंचे युवक को नागवार गुजरी और उसने अपने पास रखे बेलचा से किरण पर जानलेवा हमला कर दिया। किरण के चेहरा, सिर, माथा में बेलचा के हमले से गंभीर चोट आई है। उसके पीठ में भी वार किया गया जिसके निशान साफ तौर पर दिख रहे हैं।लहूलुहान किरण महतो ने बताया कि दर्री थाना क्षेत्र में आने वाले नदी उस पार नर्सरी से रेत खोदने पहुंचे लोगों को मना करने पर उसके ऊपर हमला किया गया। फिलहाल किरण की मां ने अन्य लोगों की मदद से उसे जिला अस्पताल पहुंचाया और यहां उसका उपचार चल रहा है।
अवैध रूप से रेत खोदने और परिवहन कर बिक्री करने के मामले में जिस तरह से शहर में घटनाएं सामने आ रही हैं वह प्रशासनिक और कानून व्यवस्था के लिए चिंता का विषय हो सकती हैं।पिछले दिनों ही सीतामढ़ी से स्टेशन मार्ग में दो लोगों की रेत ट्रैक्टर से मौत के बाद सिलसिला कुछ थमा लेकिन रात में रेत की चोरी होने लगी तो उसे भी पकड़कर पुलिस के हवाले किया गया। बताया जा रहा है कि यहां भी समझौता के नाम पर पहुंचे कुछ लोगों के द्वारा तनाव की स्थिति निर्मित की गई थी। कुछ तो यह भी सलाह दे रहे थे कि सुबह के वक्त ट्रैक्टर चलने से हादसे की संभावना रहती है तो रात के वक्त सुनसान सड़क पर ट्रैक्टर चलाने से क्या परहेज,लेकिन वह यह क्यों भूल जाते हैं कि चोरी तो चोरी है चाहे वह दिन में हो या रात में। यह मामला अभी शांत नहीं हुआ है कि राताखार में नदी उस पार जिस तरह से अवैध रेत के लिए खूनी खेल खेला गया वह चिंताजनक है।