नमस्ते कोरबा :-: कोरबा की पहचान सबसे पुराना बस स्टैंड जनप्रतिनिधियों एवं जिला प्रशासन के गैर जिम्मेदाराना रवैया की वजह से हो रहा है उपेक्षा का शिकार:शहर के पुराना बस स्टैंड में नहीं बदली व्यवस्था यात्रियाें के लिए न बैठने की व्यवस्था है और न ही अन्य सुविधा
शहर का पुराना बस स्टैंड कई दशक से उपेक्षा का शिकार है। सुविधाएं बढ़ाने के नाम से यहां लाखाें रुपए खर्च कर दिए गए। लेकिन, न ताे यात्रियाें के बैठने की व्यवस्था है और न ही टाॅयलेट। पुराना बस स्टैंड से प्रतिदिन बलाैदा-सीपत हाेकर बिलासपुर जाने वाले बसाें समेत अकलतरा, जांजगीर-चांपा, रायगढ़ व सारगढ़ जिले के लिए करीब 40 बसें चलती हैं।
जिसमें 15 बसाें का बस स्टैंड में ही अंतिम स्टाॅपेज है। प्रतिदिन करीब 3 हजार यात्री पुराना बस स्टैंड से बसाें में आवाजाही करते हैं। बावजूद इसके यहां सुविधा नहीं दी जा रही हैं। महिला यात्रियाें के लिए बनाए गए टाॅयलेट में भी ताला लगा रहता है। बस स्टैंड के अधिकांश हिस्से में ठेले-खाेमचे लगे रहते हैं। यात्रियाें काे खड़े हाेकर ही बसाें का इंतजार करना पड़ता है। बस स्टैंड में यात्रियाें के लिए पाने के पानी की व्यवस्था भी समाज सेवी संस्था भाई कन्हैया जी सेवा समिति ने की है। बस स्टैंड में अव्यस्था के कारण यात्री परेशान हाे रहे हैं।