कोरबा 09 अक्टूबर 2021 प्रदेश के किसानों का विभिन्न शासकीय योजनाओ का लाभ लेने अब एक ही पोर्टल पर पंजीयन होगा। इसमें किसान के धारित भूमि और बोए गए फसल का रकबा सत्यापन के लिए भुइयां पोर्टल से लिंक कर दिया गया है। अब शासन के निर्देशानुसार एकीकृत किसान पोर्टल में किसानों का पंजीयन किया जाएगा। इसमें राजीव गांधी किसान न्याय योजना, मुख्यमंत्री वृक्षारोपण प्रोत्साहन योजना, धान-मक्का उपार्जन, कोदो-कुटकी और रागी उपार्जन योजना सम्मिलित है। पहले प्रदेश के किसान विभिन्न शासकीय योजनाओं का लाभ लेने अलग अलग कार्यालयों में आवेदन करते थे, इससे समय, संसाधन, आदि का अपव्यय होता था। राज्य शासन ने प्रक्रिया का सरलीकरण कर विभिन्न योजनाओं के लिए एक प्लेटफार्म पर किसना पंजीयन के लिए सूचना प्रौद्योगिकी आधारित एकीकृत किसान पोर्टल विकसित किया है। इस साल खरीफ मौसम में कृषि, उद्यानिकी फसल और वृक्षारोपण करने वाले किसानों का पंजीयन पोर्टल http://kisan.cg.nic.in में किया जा रहा हैं।
धान खरीदी पंजीयन के लिए किसान संबंधित ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी के पास जाकर नवीन किसान पंजीयन, रकबा संशोधन एवं व्यक्तिगत विवरण संशोधन के लिए अपना आवेदन दस्तावेजों के साथ जमा कर सकते हैं। खरीफ 2020-21 में धान उपार्जन के लिए पंजीकृत-विक्रय किए गए रकबे पर ही धान के बदले सुगंधित धान, फोर्टीफाइड धान, कृषि फसल, उद्यानिकी फसल, एवम वृक्षारोपण करने वाले किसानों का पंजीयन किया जाएगा। गत वर्ष 2020-21 में पंजीकृत या धान बेचने वाले किसानों को पुनः पंजीयन कराने की आवश्यकता नहीं है। धान बोने वाले पंजीकृत किसानों का डेटाबेस को आगामी वर्षों में उपयोग के लिए कैरी फॉरवर्ड किया जाएगा। उद्यानिकी, वृक्षारोपण, अन्य फसल की एंट्री भी पोर्टल में की जा रही है। प्रपत्र एक में किसान का नवीन पंजीयन किया जाएगा। इसमें खरीफ मौसम की सभी कृषि एवं उद्यानिकी फसल, धान के बदले सुगंधित धान, फोर्टिफाइड धान, कृषि फसल ,उद्यानिकी फसल तथा वृक्षारोपण सम्मिलित है। यह कार्य कृषि और उद्यानिकी विभाग का अमला करेगा। इसके लिए 31 अक्टूबर तक की तिथि तय की गई है। ऑनलाइन सत्यापित आवेदनों का पोर्टल में एंट्री सहकारिता विभाग द्वारा 31 अक्टूबर तक प्राथमिक कृषि साख समितियों के जरिए की जाएगी। प्रपत्र दो में पंजीकृत फसल-रकबे में संशोधन की कार्रवाई 31 अक्टूबर तक कृषि और उद्यानिकी विभाग द्वारा की जाएगी। इसी तरह किसान के व्यक्तिगत विवरण में संशोधन की कार्रवाई प्रपत्र तीन में की जाएगी। इसके अलावा वारिसान पंजीयन के लिए प्राप्त आवेदनों को प्रपत्र चार में परीक्षण, सत्यापन एवम एकीकृत किसान पोर्टल में इंद्राज तहसीलदार द्वारा किया जाएगा। इसके अलावा संस्थागत, रेगहा, बटाईदार, लीज, डुबान क्षेत्र के किसानों का पंजीयन खाद्य विभाग द्वारा 31 अक्टूबर तक कर पोर्टल में पंजीयन किया जाएगा।