प्राकृतिक गुलाल से गाल होंगे गुलाबी,महिलाएं पलाश, गुलाब और गेंदा के फूलों से बना रहीं हर्बल गुलाल
नमस्ते कोरबा :- होली की तारीख नजदीक आ गयी है. उल्लास के रंग बिखरने लगे हैं.रंग-बिरंगी पिचकारी का बाजार सज चुका है.उमंग के इस त्योहार में हर मन रंगों में सराबोर होने को आतुर है.हालांकि एक चिंता जरूर है कहीं ये रंग उनकी त्वचा को खराब न कर दे. आप भी अपनी त्वचा पर इसके दुष्प्रभाव को लेकर फिक्रमंद हैं, तो छोड़ दीजिए चिंता. क्योंकि कोरबा में कई महिला सहायता समूह हैं, जो प्राकृतिक और हर्बल रंग और गुलाल बनाने में जुटे हैं.
नेचुरल रंग-गुलाल के लिए महिलाएं घरेलू चीजों का इस्तेमाल कर रही हैं. इसमें पलाश फूल, गुलाब, गेंदा, चुकंदर, गाजर, नीम, अमरूद के पत्ते और पालक शामिल है. वहीं मैदा, चावल का आटा, अरारोट पाउडर से गुलाल का बेस तैयार किया जा रहा है. इसमें चंदन पाउडर और इत्र का भी इस्तेमाल किया जाता है.
महिला समितियों की इस पहल का उद्देश्य लोगों को पर्यावरण अनुकूल और स्वास्थ्यवर्धक होली मनाने के लिए प्रेरित करना है। यह पहल न केवल होली के त्योहार को और भी रंगीन बनाएगी, बल्कि यह पर्यावरण और स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता भी बढ़ाएगी।
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